रजा ग्राफी न्यूज:- स्वीडन को नाटो की सदस्यता के बदले अमेरिका को मजबूरन अपने F-16 लड़ाकू विमान एवं आधुनिकीकरण किट 23 अरब डॉलर में डील कर बेचनी पड़ी थी. इसके बाद तुर्की का पडोसी और दुश्मन मुल्क ग्रीस अमेरिका से काफी खफा हो गया.
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि तुर्की को F-16 लड़ाकू विमान न मिलने की वजह ग्रीस था, ग्रीस ही अपनी टांग अड़ा रहा था. पर स्वीडन को नाटो की सदस्यता के बदले अमेरिका को तुर्की से यह डील मजबूरन करनी पड़ी यानी ग्रीस को नजरअंदाज करते हुए अमेरिका ने तुर्की की इस डील को मंजूरी दे दी.
अब अमेरिका नहीं चाहता था कि ग्रीस उससे नाराज रहे, क्योंकि ग्रीस तुर्की का पडोसी मुल्क है और ताकतवर भी है, इसके अलावा अमेरिका तुर्की से दबाव भी खाता है. भविष्य में हो सकता है तुर्की उसके लिए कोई बड़ी मुसीबत बनकर खड़ा हो जाए.
इन सब बातों को ध्यान में रखते हुए अमेरिका ने ग्रीस को खुश करने के लिए 8.6 अरब डॉलर रुपए में 40 F-35 फाइटर जेट बेचने की डील को मंजूरी दे दी है. अब अमेरिका के इस कदम से तुर्की चिढ सकता है.